माँ सरस्वती की पूजा कैसे करे /How to worship Maa Saraswati

माँ सरस्वती की पूजा कैसे करे 

मां सरस्वती की पूजा भारतीय संस्कृति में विशेष महत्व रखती है, वे ज्ञान, कला, विद्या, शिक्षा, संगीत और क्रिएटिविटी की देवी मानी जाती हैं। उनकी पूजा को निम्नलिखित तरीके से किया जा सकता है:
1. **पूजा सामग्री:** पूजा के लिए आपको निम्नलिखित सामग्री की आवश्यकता होती है - मां सरस्वती की मूर्ति, पूजा की थाली, दीपक, गुड़, चावल, फूल, अख्शत, सुपारी, इलायची, कपूर, धूप, अगरबत्ती, सिन्दूर, आदि।
2. **पूजा स्थल:** एक शुद्ध और शांत स्थान चुनें जो किसी भी प्रकार के विचलित करके नहीं है।
3. **पूजा की विधि:**
   - पूजा की शुरुआत गणेश जी की पूजा से करें, जिन्हें विघ्नहर्ता माना जाता है।
   - अपने मन को शुद्ध और ध्यान में लाने के बाद, मां सरस्वती की मूर्ति के समक्ष बैठें।
   - पूजा शुरू करने से पहले, आप मां सरस्वती को अपने माता और गुरु के रूप में समर्पित कर सकते हैं।
   - अपने हाथों में पूजा की थाली लें और उसमें गुड़, चावल, फूल, सुपारी, इलायची आदि रखें।
   - मां सरस्वती की मूर्ति को जल और दूप की अर्पण करें।
   - ध्यान में लगकर मां सरस्वती की पूजा करें, उनसे अपने ज्ञान और शिक्षा की कामना करें।
   - उनकी कृपा के लिए भावनाओं के साथ प्रार्थना करें और उनसे आशीर्वाद मांगें।
4. **पूजा का आवास:** आप चाहें तो इसके बाद ब्रह्मचारिणी मां सरस्वती के स्वरूप को एक किताब, वीणा, पेन, पेंसिल, या किसी भी विद्या संबंधित वस्त्रादि के साथ स्थानीय भाषा में विशेष तरीके से पूजा कर सकते हैं।
5. **आरती:** पूजा के अंत में, मां सरस्वती की आरती गाकर उनका समर्पण करें।
6. **प्रसाद:** पूजा के बाद, प्रसाद के रूप में गुड़, चावल, फूल आदि को प्राप्त करके उन्हें खिलाएं।
7. **व्रत:** आप चाहें तो मां सरस्वती का एक विशेष व्रत भी रख सकते हैं, जैसे कि बसंत पंचमी के दिन।
याद रहे कि पूजा के दौरान शुद्धता, आत्म-ध्यान और श्रद्धा का पालन करना महत्वपूर्ण है। 

 एक प्रसिद्ध मां सरस्वती की आरती का पाठ दिया गया है:


मां सरस्वती की आरती को पूजा के अंत में गाकर उनका समर्पण किया जाता है। यहां एक प्रसिद्ध मां सरस्वती की आरती का पाठ दिया गया है:
आरती जय सरस्वती माता,
मैया जय सरस्वती माता।
सदगुण वृद्धि दया की, भक्ति भाव दो माता॥
जो भी गाता गाती, श्रद्धा भक्ति सहित,
उसका दिल जीत लेती, वीणा वानी वदन की।
आरती जय...
ब्रह्मा जी की बेटी, विद्या की माता,
तुम ही जग की माता, तुम ही हो सर्वोत्तम।
आरती जय...

सर्वज्ञ सर्वजित ज्ञान स्वरूपिणी,
सद्गुण सागर ज्ञान के भवबंध तोड़नी।
आरती जय...
माता भवानी तुम ही हो विद्या दायिनी,
तुम ही हो बुद्धि प्रदायिनी, बुद्धि भाव दो माता।
आरती जय...

मातृस्वरूपिणी ब्रह्मरूपिणी तुम,
ह्रदय के निश्चल भक्तिभाव दो माता।
आरती जय...
आरती माता जी की, जय सरस्वती माता॥
आप इस आरती को पूजा के समय गाकर मां सरस्वती के आशीर्वाद का स्वागत कर सकते हैं। यह आरती आपको भक्ति और समर्पण की भावना के साथ पूजा की अंत में आदर्श रूप से प्रस्तुत करेगी।

प्रस्तुत आरती का हिंदी अर्थ दिया गया है:

आरती जय सरस्वती माता, मैया जय सरस्वती माता।
(हे मां सरस्वती, आपकी आरती जय हो, हे माता, आपकी आरती जय हो।)
सदगुण वृद्धि दया की, भक्ति भाव दो माता॥
(कृपा करके सदगुणों की वृद्धि और दया दीजिए, हे माता, हमें भक्ति भाव दीजिए।)
जो भी गाता गाती, श्रद्धा भक्ति सहित,
उसका दिल जीत लेती, वीणा वानी वदन की।
(जो कोई भी आपकी स्तुति करता है, श्रद्धा और भक्ति सहित, उसका दिल जीत लेती है, आपकी वीणा, वाणी और वदन के द्वारा।)
ब्रह्मा जी की बेटी, विद्या की माता,
तुम ही जग की माता, तुम ही हो सर्वोत्तम।
(आप ब्रह्मा जी की पुत्री हैं, विद्या की माता हैं, आप ही जगत की माता हैं, आप ही सर्वोत्तम हैं।)
सर्वज्ञ सर्वजित ज्ञान स्वरूपिणी,
सद्गुण सागर ज्ञान के भवबंध तोड़नी।

(आप सबको जानती हैं, सबको जीतती हैं, आप ज्ञान की स्वरूपिणी हैं, आप सदगुणों के सागर हैं, ज्ञान के भवबंधन को तोड़ती हैं।)
माता भवानी तुम ही हो विद्या दायिनी,
तुम ही हो बुद्धि प्रदायिनी, बुद्धि भाव दो माता।

(हे माता भवानी, आप ही विद्या को देती हैं, आप ही बुद्धि को प्रदान करती हैं, हे माता, हमें बुद्धि भाव दीजिए।)
मातृस्वरूपिणी ब्रह्मरूपिणी तुम,
ह्रदय के निश्चल भक्तिभाव दो माता।

(हे मातृस्वरूपिणी, ब्रह्मरूपिणी, आप ही हमारे ह्रदय में अचल भक्तिभाव दीजिए, हे माता।)
आरती माता जी की, जय सरस्वती माता॥
(हे माता जी की आरती, जय हो, हे मां सरस्वती माता॥)

मां सरस्वती की पूजा के प्रसाद के रूप में आप निम्नलिखित विकल्पों का चयन 

1. **केसरी सूजी हलवा:** मां सरस्वती को खुश करने के लिए केसरी सूजी हलवा बना सकते हैं। यह एक प्रसिद्ध पूजा प्रसाद है और भक्तों को बहुत पसंद आता है।
2. **मूंगदाल हलवा:** मूंगदाल हलवा भी एक पूजा प्रसाद का पॉपुलर विकल्प है। इसकी मिठास और स्वाद आपकी पूजा की खासी करेंगे।
3. **फल:** ताजगी और पौष्टिकता के लिए आप विभिन्न प्रकार के फल जैसे कि आपल, बनाना, ग्रेपफ्रूट, आदि को पूजा के प्रसाद के रूप में प्रस्तुत कर सकते हैं।
4. **चना और गुड़:** मां सरस्वती की पूजा में चना और गुड़ को प्रसाद के रूप में खिलाना एक शुभ आदत है। यह समर्पण की भावना को दर्शाता है और पौष्टिकता भी प्रदान करता है।
5. **कुछ मिठाईयाँ:** पूजा प्रसाद के रूप में कुछ परंपरागत मिठाइयाँ जैसे कि लड्डू, बर्फी, गुलाबजामुन, आदि बना सकते हैं।
6. **प्रसाद प्लेट:** आप पूजा के प्रसाद को एक स्पेशल प्लेट में व्यवस्थित रूप से प्रस्तुत कर सकते हैं, जिसमें मिठाइयाँ, फल, और अन्य प्रसाद शामिल हों।
आपके चयन के अनुसार, आप पूजा के प्रसाद को तैयार कर सकते हैं और मां सरस्वती की कृपा और आशीर्वाद के साथ उन्हें समर्पित कर सकते हैं।

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