हनुमान जयंती उत्सव , पूजा की विधि,मंत्र
हनुमान जयंती के दिन भक्त पूजा-पाठ करते हैं और मानते हैं कि इससे उनकी हर इच्छा पूरी होती है. हनुमान जी को कलयुग में सबसे प्रभावशाली देवताओं में से एक माना जाता है. पौराणिक मान्यताओं के मुताबिक, हनुमान जी का जन्म चैत्र महीने की पूर्णिमा को मंगलवार के दिन हुआ था. इसलिए मंगलवार का दिन बजरंगबली को समर्पित माना जाता है कहा जाता है कि भगवान राम की लंबी उम्र की कामना करते हुए हनुमान जी ने अपने पूरे शरीर पर सिंदूर लगा लिया था. तब से ही भगवान हनुमान को सिंदूर चढ़ाने की परंपरा शुरू हुई. कुछ लोग हनुमान जयंती को ही हनुमान जन्मोत्सव कहते हैं
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हनुमान जयंती उत्सव
हनुमान जयंती हिंदुओं के लिए एक महत्वपूर्ण त्योहार है, जो उनके धार्मिक और सांस्कृतिक विश्वासों में एक महत्वपूर्ण स्थान रखता है। इस त्योहार का उत्सव लोगों को भगवान हनुमान के प्रति उनकी पूजा और अर्पण करने का मौका देता है, जिससे वे खुशहाल और समृद्ध जीवन के लिए उनकी आशीर्वाद की प्रार्थना कर सकते हैं। हनुमान जयंती को हिंदू समुदाय के लोग उत्साह और उल्लास के साथ मनाते हैं। इस दिन भक्त भगवान हनुमान के समर्पित मंदिरों में जाकर पूजा और भेंट करते हैं। वे हनुमान चालीसा भी पढ़ते हैं, जो भगवान हनुमान के समर्पित एक ध्यान-स्तोत्र है और उनकी प्रशंसा में भक्तिपूर्ण गीत गाते हैं। इस दिन कई लोग भक्तिपूर्ण सम्मान और भक्ति के चिह्न के रूप में उपवास भी करते हैं। हनुमान जयंती हिंदुओं के लिए बहुत महत्वपूर्ण होती है, क्योंकि यह अच्छाई की विजय का प्रतीक है। भगवान हनुमान शक्ति, साहस और भक्ति का प्रतीक माने जाते हैं, और उनकी शिक्षाएँ आज के दौर में भी महत्वपूर्ण हैं। हनुमान जयंती का उत्सव लोगों को धर्म के माध्यम से उन्नति की ओर ले जाने का संकेत होता है और न्याय के लिए सदैव खड़े रहने के लिए प्रेरित करता है।
हनुमान जयंती पर पूजा की विधि
- लाल रंग के फूल, फल, धूप, दीप, सिंदूर आदि चीज़ों से पूजा करें.
- हनुमान चालीसा और बजरंग बाण का पाठ करें.
- समय हो, तो सुंदर कांड का पाठ भी करें.
- हनुमान जी को घी का दीपक जलाएं.
- हनुमान जी को अनामिका अंगुली से तिलक लगाएं.
- सिंदूर अर्पित करें.
हनुमान जयंती पर पूजा के लिए इन चीज़ों की ज़रूरत होती है
- हनुमान जी की मूर्ति या तस्वीर
- लाल फूल
- सिंदूर
- अक्षत
- फल
- माला
- चमेली का तेल
- गाय का घी
- दीपक
- पान का बीड़ा
- लाल लंगोट
- धूप
- अगरबत्ती
- इलायची
- लौंग
- बूंदी या बूंदी के लड्डू
- बेसन के लड्डू
- मोतीचूर के लड्डू
- गुड़
- काला चना
- हनुमान जी का ध्वज
- जनेऊ
- खड़ाऊं या चरण पादुका
- वस्त्र
घर पर ऐसे करें पूजा
- हनुमान जन्मोत्सव के दिन ब्रह्म मुहूर्त में उठकर स्नान-ध्यान करें।
- इसके बाद साफ वस्त्र धारण करें और सूर्यदेव को अर्घ्य दें
- फिर एक चौकी पर लाल वस्त्र बिछाएं। ...
- हनुमान जी की प्रतिमा पर सिंदूर, अक्षत, फूल अर्पित करें।
- इस दौरान बेसन के लड्डू या बूंदी का प्रसाद रख सकते हैं, क्योंकि यह उन्हे अधिक प्रिय है।
हनुमान जयंती पर इन मंत्रों का जाप किया जा सकता है
- ॐ हनुमते नमः
- ॐ नमो हनुमते रुद्रावताराय सर्व-शत्रु-संहारणाय, सर्व-रोग-हराय, सर्व-वशीकरणाय, राम-दूताय स्वाहा
- ॐ श्री हनुमते नमः
- ॐ हं हनुमते नमः
- मनोजवं मारुततुल्यवेगं, जितेन्द्रियं बुद्धिमतां वरिष्ठम्। वातात्मजं वानरयूथमुख्यं, श्रीरामदूतं शरणं प्रपद्ये
- ॐ नमो भगवते हनुमते नमः
- ॐ हं पवन नन्दनाय स्वाहा
- अंजनी गर्भ संभूताय कपीन्द्र सचिवोत्तम रामप्रिय नमस्तुभ्यं हनुमान रक्ष रक्ष सर्वदा
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