चैत्र नवरात्रि में कलश स्थापना विधि और शुभ मुहूर्त | Chaitra Navratri mein kalash sthaapana vidhi aur shubh muhoort

चैत्र नवरात्रि में कलश स्थापना विधि और शुभ मुहूर्त

चैत्र नवरात्रि के पहले दिन घटस्थापना की जाती है। चैत्र नवरात्रि का आरंभ शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि से होता है। नवरात्रि के पहले दिन शुभ मुहूर्त में ही घटस्थापना, जिसे कलश स्थापना भी कहा जाता है, की जाती है। नवरात्रि के नौ दिनों तक मां दुर्गा के अलग-अलग स्वरूपों की उपासना की जाती है। नवरात्रि में मां दुर्गा का आशीर्वाद पाने के लिए घटस्थापना शुभ मुहूर्त में करना अति महत्वपूर्ण है। आइए जानते हैं घट स्थापना का शुभ मुहूर्त, घटस्थापना की विधि और महत्व।

पहले दिन कलश स्थापना की जाती है

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार नवरात्रि के पहले दिन शुभ मुहूर्त में कलश स्थापना विधि-विधान से की जानी चाहिए। ऐसा करने से देवी दुर्गा की कृपा प्राप्त होती है और सुख-समृद्धि बढ़ती है। कलश स्थापना के लिए हमेशा सोने, चांदी, तांबे या मिट्टी से बने कलश का उपयोग करना चाहिए, जिसे शुभ माना जाता है।

कलश स्थापना से पहले जिस स्थान पर कलश स्थापित करना है, उसे गंगाजल से शुद्ध कर लेना चाहिए। इसके साथ ही कलश स्थापना के दौरान स्वयं को और माता को पवित्र रखना चाहिए। किसी भी प्रकार का कोई नकारात्मक विचार मन में नहीं आना चाहिए। कलश स्थापना के दौरान अखंड ज्योति जलानी चाहिए और विधि-विधान से पूजा करनी चाहिए। ऐसा करने से आपकी सभी मनोकामनाएं शीघ्र पूरी होंगी।

चैत्र नवरात्रि कलश स्थापना मुहूर्त 2025

कलश स्थापना नवरात्रि की पूजा का एक महत्वपूर्ण हिस्सा होता है। इस दौरान विशेष मुहूर्त में कलश स्थापना करने से मां दुर्गा की कृपा प्राप्त होती है। 2025 में कलश स्थापना के लिए निम्नलिखित मुहूर्त है।

  • पहला मुहूर्त: 30 मार्च 2025, सुबह 06:13 बजे से 10:22 बजे तक।

  • दूसरा मुहूर्त (अभिजीत मुहूर्त): 30 मार्च 2025, दोपहर 12:01 बजे से 12:50 बजे तक।

इन मुहूर्तों में कलश स्थापना करना अत्यधिक फलदायी माना जाता है।

कलश स्थापना पूजन सामग्री

कलश स्थापना करने के लिए निम्नलिखित सामग्री की आवश्यकता होती है:

  • सोने, चांदी, तांबे या मिट्टी का कलश

  • नारियल

  • लाल चुनरी

  • हल्दी

  • अक्षत (चावल)

  • लाल रंग का वस्त्र

  • सिक्का

  • पंच पल्लव

  • सुपारी

  • शहद

  • गंगाजल

  • रोली

  • जौं के बीज

  • मिट्टी का पात्र

कलश स्थापना विधि

  1. नवरात्रि में सुबह जल्दी उठें और स्नान आदि कर साफ वस्त्र धारण करें।

  2. अपने घर के मंदिर को अच्छे से स्वच्छ कर लें और फूलों से सजाएं।

  3. घट स्थापना के लिए सबसे पहले कलश में पानी भरकर रख दें।

  4. कलश में सिक्का, सुपारी, गंगाजल, शहद और आम के पत्ते रखें।

  5. मिट्टी को फैला लें और उसमें अष्टदल बनाएं।

  6. फिर नारियल को एक लाल कपड़े में बांधकर कलश के ऊपर स्थापित कर दें।

  7. कलश पर स्वास्तिक चिह्न बनाएं और मिट्टी के बर्तन में जौं भी बो दें।

  8. इसके बाद विधिपूर्वक मां दुर्गा की पूजा करें और अखंड ज्योत जलाएं।

इस प्रकार, विधि-विधान से कलश स्थापना करने से देवी दुर्गा का आशीर्वाद प्राप्त होता है और घर में सुख, शांति, समृद्धि एवं सकारात्मकता बनी रहती है।

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